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पन्ना और आस पास आबादी पर खुखार जानवरों का आना किसी अशुभ संकेत जैसा है

लोकेशन=पन्ना।मध्य प्रदेश पन्ना
ब्यूरो चीफ=सुधीर अग्रवाल
*पन्ना और आस पास आबादी पर खुखार जानवरों का आना किसी अशुभ संकेत जैसा है*
पन्ना जो कि मंदिरों और पन्ना टाइगर रिजर्व क्षेत्र के लिए जाना जा रहा है लेकिन कुछ समय से टाइगर का एवं खूंखार जानवर का तेंदुआ भालू यह नगर की ओर आते दिखाई दे रहे हैं जिससे कई घटनाएं हो चुकी है और कई घटनाएं होती आ रहीं यह जंगली जानवर गाय बैल भेड़ बकरी यह तक मानव तक को अपना शिकार बनाते हैं ,जानवरों का इस तरह शहर में आना या आदमियों की बस्ती में आना किसी अशुभ संकेत की और ले जा रहा है इस बात पर सभी को चिंतन करना चाहिए कि यह जानवर आबादी में क्यो आ रहे है क्यों इन जानवरों को भोजन की तलाश आबादी की और ला रही हैं।तो इस बात का सीधा सा जवाब है कि शासन ने पन्ना को 1994 में टाइगर रिजर्व का दर्जा दिया जिसमें पन्ना और छतरपुर जिला को शामिल किया गया जो कि लगभग 543 किलोमीटर का क्षेत्र को आरक्षित किया गया। लेकिन यहां शेर नहीं थे तब 2009 को बांधवगढ़ और कान्हा से दो मादा और एक नर सेर को लाया गया था।जो अब लगभग 100से ऊपर हो चुके है।शेरों में आपशी टकराव और जंगल का छोटा पढ़ना भी उन्हें मानव आबादी की और आने पर मजबूर कर रहे हैं।साथ ही साथ अपने मनोरंजन के लिए जंगलों में हमारा जादा प्रवेश भी एक बजह है जो जंगली जानवरों को मानव समुदाय के बीच ला रही है।